प्रजासत्ता नेशनल डेस्क|
बाबा अमरनाथ की यात्रा 1 जुलाई, 2023 को शुरू होने वाली है। यात्रा से पहले जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा कड़ी कर द गई है। सुरक्षा बलों द्वारा सुरक्षा निगरानी के लिए ड्रोन इस्तेमाल किया जा रहा है। यह यात्रा दक्षिण कश्मीर हिमालय के पहाड़ों के माध्यम से श्री अमरनाथ की पवित्र गुफा तीर्थ तक एक पवित्र यात्रा होती है। हर साल तीर्थयात्रा में दूर-दूर से भक्त आते हैं जो पवित्र गुफा मंदिर के भीतर प्राकृतिक रूप से बने बर्फ के लिंगम के रूप में भगवान शिव के दर्शन करने आते हैं। तीर्थयात्रा 62 दिनों तक चलेगी, जो 1 जुलाई से शुरू होगी और 31 अगस्त को समाप्त होगी।
यात्रा के लिए पंजीकरण 17 अप्रैल, 2023 को शुरू हुआ। अमरनाथ यात्रा का कार्यक्रम आमतौर पर हिंदू कैलेंडर के अनुसार स्कंदषष्ठी के शुभ दिन के साथ यह यात्रा शुरू होती है और श्रावण पूर्णिमा पर समाप्त होती है, जिसे रक्षा बंधन भी कहा जाता है। पवित्र गुफा मंदिर का प्रबंधन श्री अमरनाथजी श्राइन बोर्ड (SASB) को सौंपा गया है, जिसे 2000 में जम्मू और कश्मीर राज्य विधानमंडल के एक अधिनियम द्वारा स्थापित किया गया था, जिसमें जम्मू और कश्मीर के राज्यपाल इसके पदेन अध्यक्ष के रूप में थे।
अमरनाथ यात्रा 1 जुलाई को पहलगाम के नुनवान और मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले के बालटाल के दो पारंपरिक मार्गों से शुरू होगी। व्यक्ति ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों चैनलों का उपयोग करके पंजीकरण कर सकते हैं। दक्षिण कश्मीर हिमालय में 3,880 मीटर की ऊंचाई पर स्थित अमरनाथ के पवित्र गुफा मंदिर की वार्षिक तीर्थयात्रा 1 जुलाई से शुरू होगी और 31 अगस्त तक जारी रहेगी।
अमरनाथ यात्रा पर जाने के लिए पूर्व पंजीकरण अनिवार्य है। पंजीकरण पीएनबी, एसबीआई, यस बैंक और जम्मू और कश्मीर बैंक की कुछ शाखाओं में आयोजित किए जा रहे हैं। यदि आप ऑनलाइन पंजीकरण करना चाहते हैं। वेबसाइट पर कोई भी व्यक्ति आसानी से रजिस्ट्रेशन करा सकता है। आपको अपने राज्य में अधिकृत डॉक्टर/अस्पताल द्वारा जारी मेडिकल सर्टिफिकेट और एक पासपोर्ट साइज फोटो की आवश्यकता होगी।