Google News Preferred Source
साइड स्क्रोल मेनू

मजदूरों की मांगों को लेकर शिमला में सीटू का जोरदार प्रदर्शन, सौंपा ज्ञापन

मजदूरों की मांगों को लेकर शिमला में सीटू का जोरदार प्रदर्शन, सौंपा ज्ञापन

पूजा|शिमला
सीटू की हिमाचल प्रदेश राज्य कमेटी ने मजदूरों की मांगों को लेकर शिमला में विधानसभा पर जोरदार प्रदर्शन किया। सुबह ग्यारह बजे प्रदेश भर से हज़ारों मजदूर पंचायत भवन शिमला पर जुटे व विधानसभा तक रैली निकाली। इस दौरान मजदूरों ने अपनी मांगों को लेकर जोरदार नारेबाजी की। प्रदर्शन में इतनी जबरदस्त भीड़ जुटी कि लगभग दो घण्टे तक शिमला शहर में भयंकर जाम से सड़क पर वाहनों की कतारें लग गईं। प्रदर्शन के बाद छः सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर तथा श्रम एवम रोज़गार मंत्री विक्रम ठाकुर से मिला व उन्हें बारह सूत्रीय ज्ञापन सौंपा। प्रतिनिधिमंडल में डॉ कश्मीर ठाकुर,विजेंद्र मेहरा,प्रेम गौतम,जगत राम,विजय शर्मा व लेखराम वर्मा शामिल रहे। मुख्यमंत्री व मंत्री महोदय ने मजदूरों की मांगों को पूर्ण करने का आश्वासन दिया।

इसे भी पढ़ें:  मंत्रिमंडल के निर्णय: हिमाचल सरकार ने अनाथ बच्चों को चिल्ड्रन ऑफ द स्टेट के रूप में अपनाने का लिया निर्णय

विधानसभा पर हुए प्रदर्शन को सीटू के भूतपूर्व प्रदेशाध्यक्ष राकेश सिंघा,सीटू राष्ट्रीय सचिव कश्मीर ठाकुर,प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा,महासचिव प्रेम गौतम,जगत राम,भूपेंद्र सिंह,हिमी देवी,बिहारी सेवगी,राजेश शर्मा,सुदेश कुमारी,रविन्द्र कुमार,केवल कुमार,सुरेश राठौर,गुरनाम सिंह,राजेश ठाकुर,विजय शर्मा,लेखराज वर्मा,राजेन्द्र ठाकुर,एन डी रणौत,ओमदत्त,अजय दुलटा,कुलदीप डोगरा,बाबू राम, आदि ने सम्बोधित किया। जनसभा में हिमाचल किसान सभा प्रदेशाध्यक्ष डॉ कुलदीप सिंह तंवर,संजय चौहान,एसएफआई राष्ट्रीय संयुक्त सचिव दिनित देंटा,प्रदेशाध्यक्ष रमन थारटा,डीवाईएफआई नेता पवन शर्मा भी रैली में मौजूद रहे। वक्ताओं ने केंद्र व प्रदेश सरकार की नीतियों पर जमकर हमला बोला व चेताया कि अगर मजदूर व किसान विरोधी कानून वापिस न लिए तो आंदोलन तेज होगा।

सीटू प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा व महासचिव प्रेम गौतम ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा श्रम कानूनों को खत्म कर बनाई गईं मजदूर विरोधी चार श्रम संहिताओं के खिलाफ,न्यूनतम वेतन 21 हज़ार रुपये घोषित करने,वेतन को उपभोक्ता मूल्य अथवा महंगाई सूचकांक के साथ जोड़ने,मनरेगा वर्करज़ को दो सौ दिन का रोज़गार उपलब्ध करवाने,उन्हें न्यूनतम तीन सौ रुपये दिहाड़ी देने,उनका आर्थिक लाभ व सामान तीन महीने में उपलब्ध करवाने,आंगनबाड़ी,मिड डे मील व आशा वर्करज़ को सरकारी कर्मचारी घोषित करने व हरियाणा की तर्ज़ पर वेतन देने,प्री प्राइमरी में आंगनबाड़ी कर्मियों की नियुक्ति करने,फिक्स टर्म,आउटसोर्स,ठेका,पार्ट टाइम,टेम्परेरी व कॉन्ट्रैक्ट रोज़गार पर अंकुश लगाने,आठ के बजाए बारह घण्टे डयूटी करने के खिलाफ,कोरोना काल में हुई करोड़ों मजदूरों की छंटनी,कर्मचारियों की पुरानी पेंशन बहाली,मजदूरों के वेतन में कटौती,ईपीएफ व ईएसआई की राशि में कटौती,किसान विरोधी तीन कानूनों व बिजली विधेयक 2020 के मुद्दे पर हिमाचल प्रदेश के हज़ारों मजदूर सड़कों पर उतरे व विधानसभा पर जोरदार प्रदर्शन किया।

इसे भी पढ़ें:  पंजाब के पूर्व CM चन्नी ने मुख्यमंत्री सुक्खू से की शिष्टाचार भेंट
संस्थापक, प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया प्रजासत्ता पाठकों और शुभचिंतको के स्वैच्छिक सहयोग से हर उस मुद्दे को बिना पक्षपात के उठाने की कोशिश करता है, जो बेहद महत्वपूर्ण हैं और जिन्हें मुख्यधारा की मीडिया नज़रंदाज़ करती रही है। पिछलें 9 वर्षों से प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया संस्थान ने लोगों के बीच में अपनी अलग छाप बनाने का काम किया है।

Join WhatsApp

Join Now

Leave a Comment