Himachal News: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हिमाचल प्रदेश के पूर्व जिला कोषागार अधिकारी (डीटीओ) सतीश कुमार की 1.84 करोड़ रुपये मूल्य की अचल संपत्ति को अस्थायी रूप से कुर्क कर लिया है। यह कार्रवाई मनी लॉन्ड्रिंग रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) के तहत की गई है। सतीश कुमार पर सरकारी ई-पेंशन सॉफ़्टवेयर में हेराफेरी करके सेवानिवृत्त कर्मचारियों के पेंशन कोष से पैसा हड़पने का आरोप है।
जांच के दौरान यह सामने आया कि कुमार ने अपनी नाहन पोस्टिंग (2012-2018) के दौरान सॉफ़्टवेयर में छेड़छाड़ की और 95 पेंशनभोगियों के 1.68 करोड़ रुपये अपने और अपने परिवार के नाम पर विभिन्न बैंक खातों में ट्रांसफर कर दिए थे।
ईडी ने सोमवार को शिमला जोनल कार्यालय से जारी प्रेस नोट में बताया कि यह संपत्ति पंजाब के मोहाली जिले के खरड़ में सनी एन्क्लेव स्थित 200 वर्ग गज का आवासीय प्लॉट है, जिसमें निर्माण भी शामिल है। कुमार ने इसी “अपराध की आय” का इस्तेमाल यह संपत्ति खरीदने और बनवाने के लिए किया, जिससे काले धन को सफेद बनाने की कोशिश की गई। ईडी ने इस मामले को सरकारी भ्रष्टाचार के खिलाफ त्वरित न्यायिक फैसले का उदाहरण बताया।
क्या था मामला?
ईडी की जांच नाहन थाने में दर्ज प्राथमिकी (एफआईआर) के आधार पर शुरू हुई, जिसमें कुमार के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 409 (आपराधिक विश्वासघात) और 420 (धोखाधड़ी) और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया गया था। यह एफआईआर जुलाई 2022 में दर्ज की गई थी, जब सिरमौर जिले की पुलिस ने विशेष जांच टीम (एसआईटी) गठित की। प्रारंभिक रिपोर्ट में पाया गया कि कुमार ने दिसंबर 2012 से नवंबर 2018 तक पेंशन पेमेंट ऑर्डर (पीपीओ) से जुड़े पांच बैंक खातों में कुल 1.69 करोड़ रुपये जमा किए थे।
इनमें से:
-एसबीआई पच्छाद शाखा में कुमार और उनकी पत्नी निशी राणा के नाम पर 9.66 लाख रुपये (दिसंबर 2012 से नवंबर 2016 तक)।
-पीएनबी नाहन शाखा में कुमार और निशी के नाम पर 30.23 लाख रुपये (मार्च 2014 से नवंबर 2018 तक)।
-एसबीआई नाहन शाखा में कुमार के नाम पर 17.12 लाख रुपये (जून 2014 से नवंबर 2016 तक)।
-बेटे अर्नब के नाम पर एसबीआई नाहन में 21.75 लाख रुपये (मार्च 2014 से अप्रैल 2017 तक)।
ईडी ने 31 मई 2023 को विशेष अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया, जिसके बाद सिरमौर जिले के नाहन स्थित विशेष न्यायाधीश ने कुमार को अपराधों के लिए दोषी ठहराया। इस मामले में ईडी की जांच जारी है, और आगे की कार्रवाई जैसे संपत्ति की नीलामी या अन्य जुर्माने की संभावना है।











