Google News Preferred Source
साइड स्क्रोल मेनू

Kangana Ranaut Apologized: किसान कानून पर दिया बयान, जानिए अब क्यों हाथ जोड़कर मांगनी पड़ी माफ़ी

Kangana Ranaut Apologized: किसान कानून पर दिया बयान, जानिए अब क्यों हाथ जोड़कर मांगनी पड़ी माफ़ी

Kangana Ranaut Apologized: अपने बयानों की वजह से सुर्खियों में रहने वाली कंगना को कई बार मुंह की खानी पड़ती है। जिसे उन्हे काफी फजीहत का सामना करना पड़ता है। वहीँ उनके ये बयान बीजेपी के लिए सिरदर्द बनते जा रहे हैं। हाल ही में कृषि कानूनों को वापस लाने की मांग करने को लेकर फिर सबके निशाने पर आयी। जिससे बीजेपी ने तुरंत किनारा कर लिया।

भारतीय जनता पार्टी द्वारा उनके बयान से किनारा करने के बाद भाजपा सांसद कंगना रनौत ने बुधवार को कहा कि इन विवादास्पद कानूनों पर उनके विचार ‘निजी’ हैं और पार्टी के रूख को प्रदर्शित नहीं करते। उनके बयान को लेकर बढ़ते विरोध के बाद कंगना को अब खुले तौर पर माफी मांगने की नौबत आ गई।

माना जा रहा है कि दो राज्यों में विधानसभा चुनाव के चलते पार्टी द्वारा फटकार लगाने के बाद दबाव में उन्होंने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर माफी मांगी। ‘बता दें कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर बीजेपी सांसद कंगना रनौत का केंद्र सरकार द्वारा वापस लिए गए कृषि बिलों पर बयान वायरल हो रहा है।

इसे भी पढ़ें:  Rashtrapati Nivas Chharabra:राष्ट्रपति निवास छराबड़ा में भी टौर के पत्तल में परोसी जाएगी धाम

दरअसल, अभिनय से राजनीति में आयीं कंगना ने मंडी में मंगलवार को एक कार्यक्रम में अपने संबोधन में कहा था कि इन तीन कृषि कानूनों का केवल कुछ राज्यों में विरोध हुआ। उन्होंने कहा था, ” किसान भारत की प्रगति के शक्तिस्तंभ हैं। केवल चंद राज्यों में ही उन्होंने कृषि कानूनों का विरोध किया। मैं हाथ जोड़कर अपील करती हूं कि किसानों के हित में इन कृषि कानूनों को वापस लाया जाए।”

कंगना रनौत का यह बयान ऐसे समय में आया है जब राजनीतिक दल पांच अक्टूबर को होने वाले हरियाणा विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुटे हैं। हरियाणा में खासकर दिल्ली की सीमाओं पर किसानों का बड़ा प्रदर्शन हुआ था जो इन कानूनों को रद्द करने की मांग कर रहे थे।”

ऐसे में कंगना रनौत का कृषि कानूनों को वापस लाने की मांग करने वाला बयान हरियाणा में बीजेपी को और नुकसान पहुंचा सकता था। बता दें कि हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए पांच अक्टूबर को सभी 90 सीटों पर वोटिंग है, जिसके नतीजे आठ अक्टूबर को आएंगे। राज्य में पिछलेए क दशक से बीजेपी की सरकार होने से पार्टी को पहले से ही एंटी इनकमबेंसी का सामना कर रही है। यही देखते हुए बीजेपी ने बयान का खंडन कर किनारा कर लिया।

इसे भी पढ़ें:  हिमाचल में 1 अप्रैल से महंगी होगी शराब, हर बोतल पर चुकाना पड़ेगा 17 रुपए सेस

पिछले महीने कंगना रनौत ने एक मीडिया हाउस को दिए इंटरव्यू में कुछ ऐसी बातें कह दी थीं, जिससे विवाद खड़ा हो गया था। कंगना ने कहा था कि अगर हमारा शीर्ष नेतृत्व मजबूत नहीं होता तो जो बांग्लादेश में हुआ, वह भारत में भी होते देर नहीं लगती। किसान आंदोलन के समय उपद्रवी हिंसा फैला रहे थे और लंबी प्लानिंग थी। वहां रेप और हत्याएं भी हुई थीं।

कंगना के इस बयान को लेकर भी पंजाब में काफी विरोध हुआ था। पुरे देश में विवाद बढ़ता देख बीजेपी को प्रेस रिलीज करना पड़ा। पार्टी ने कहा कि कंगना रनौत द्वारा किसान आंदोलन को लेकर दिया गया बयान पार्टी का मत नहीं है। बीजेपी कंगना रनौत के बयान से असहमति व्यक्त करती है। पार्टी की ओर से नीतिगत विषयों पर बोलने के लिए कंगना को न तो अनुमति है और न ही वे बयान देने के लिए अधिकृत है।

संस्थापक, प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया प्रजासत्ता पाठकों और शुभचिंतको के स्वैच्छिक सहयोग से हर उस मुद्दे को बिना पक्षपात के उठाने की कोशिश करता है, जो बेहद महत्वपूर्ण हैं और जिन्हें मुख्यधारा की मीडिया नज़रंदाज़ करती रही है। पिछलें 9 वर्षों से प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया संस्थान ने लोगों के बीच में अपनी अलग छाप बनाने का काम किया है।

Join WhatsApp

Join Now