Google News Preferred Source
साइड स्क्रोल मेनू

Himachal News: यौन उत्पीड़न के आरोप में हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज बिलासपुर के निदेशक निलंबित

Himachal News: छात्राओं से अनैतिक व्यवहार के आरोप में हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज का प्रिंसिपल गिरफ्तार, छात्रों ने कॉलेज में प्रदर्शन कर फूंका पुतला..!

Himachal News: हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज, बंदला,  बिलासपुर के निदेशक सह प्राचार्य हिमाशु मोंगा को यौन उत्पीड़न के आरोपों के चलते राज्य सरकार ने निलंबित कर दिया है। तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी ने इस संबंध में जानकारी मंगलवार को दी। उन्होंने कहा कि सरकार ऐसे मामलों में किसी भी तरह की लापरवाही नहीं बरतेगी और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

मंत्री धर्माणी ने बताया कि यह निर्णय कॉलेज की यौन उत्पीड़न समिति की रिपोर्ट के आधार पर लिया गया है, जिसमें प्राचार्य के खिलाफ आरोपों की पुष्टि हुई है। सरकार की तरफ से यह स्पष्ट किया गया है कि शैक्षणिक संस्थानों में सुरक्षित वातावरण बनाए रखना उसकी प्राथमिकता है और ऐसे मामलों में किसी भी तरह की ढिलाई बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

इसे भी पढ़ें:  Himachal Transfers: हिमाचल में बड़ा फेरबदल, 6 एसडीएम सहित 22 अधिकारियों के किए तबादले

उल्लेखनीय है कि हाइड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज के निदेशक सह प्राचार्य पर कई छात्राओं ने यौन उत्पीड़न और अनुचित व्यवहार के गंभीर आरोप लगाए थे। उक्त आरोपित के एक वीडियो भी समाने आया था। जिसके खिलाफ एक पूर्व छात्र ने शिकायत दर्ज केवी थी।

इन आरोपों की जांच के लिए गठित तीन सदस्यीय महिला समिति ने 21 अप्रैल से मामले की गहन जांच शुरू की थी। जांच के दौरान समिति ने कॉलेज की लगभग तीन दर्जन छात्राओं से बातचीत की और कुछ छात्राओं द्वारा प्रस्तुत किए गए संदेश व साक्ष्य भी देखे। इन साक्ष्यों के आधार पर समिति ने अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपी, जिसके बाद यह कार्रवाई की गई।

इसे भी पढ़ें:  प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों का महंगाई भत्ता तीन प्रतिशत बढ़ा

बता दें कि आरोपीत के खिलाफ 8 अप्रैल को ऑनलाइन शिकायत दर्ज हुई थी। लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं होने के चलते प्रजासत्ता ने इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाया था। जिसके बाद कॉलेज में छात्र छात्राओं और लोगों ने आरोपित निदेशक सह प्राचार्य हिमाशु मोंगा के खिलाफ प्रदर्शन किया और पुतला भी जलाया था मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया था हालांकि बाद में उसे जमानत मिल गई थी। लेकिन अभी भी मामले की जाँच चल रही है।

संस्थापक, प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया प्रजासत्ता पाठकों और शुभचिंतको के स्वैच्छिक सहयोग से हर उस मुद्दे को बिना पक्षपात के उठाने की कोशिश करता है, जो बेहद महत्वपूर्ण हैं और जिन्हें मुख्यधारा की मीडिया नज़रंदाज़ करती रही है। पिछलें 9 वर्षों से प्रजासत्ता डिजिटल मीडिया संस्थान ने लोगों के बीच में अपनी अलग छाप बनाने का काम किया है।

Join WhatsApp

Join Now