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अडाणी मामले को लेकर कांग्रेस हुई हमलावर

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Adani Row: अडाणी ग्रुप के खिलाफ जांच की मांग को लेकर कांग्रेस ने सोमवार को संसद से लेकर सड़कों तक विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने जीवन बीमा निगम (LIC) के कार्यालयों और भारतीय स्टेट बैंक (SBI) की ब्रांच के सामने भी देशभर में विरोध प्रदर्शन किया।

कांग्रेस के यूथ विंग NSUI ने भी सड़कों पर उतरकर अडाणी ग्रुप के खिलाफ जांच की मांग करते हुए देशभर में विरोध प्रदर्शन किया।

जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस कार्यकर्ता बेरिकेड्स तोड़ते और पुलिस अधिकारियों से धक्का-मुक्की करते नजर आए। पार्टी के कार्यकर्ता अडाणी समूह के खिलाफ हिंडनबर्ग रिसर्च की ओर से लगाए गए आरोपों पर संयुक्त संसद समिति (जेपीसी) या सुप्रीम कोर्ट की निगरानी वाली जांच की मांग की।

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तेलंगाना में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने एसबीआई कार्यालय तक मार्च किया। मुंबई, चेन्नई और बेंगलुरु में इसी तरह के विरोध प्रदर्शन किए गए।

कांग्रेस सांसदों ने संसद भवन में महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास विरोध प्रदर्शन किया। विपक्षी नेताओं के हंगामे के बीच दोनों सदनों की कार्यवाही स्थगित कर दी गई। विपक्षी सांसदों ने कहा कि सरकार इस मुद्दे पर संसद में चर्चा नहीं होने दे रही है।

खड़गे बोले- पीएम मोदी अडाणी मुद्दे पर जवाब दें

कांग्रेस प्रमुख मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि पार्टी संसद में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर बोलने के लिए तैयार है लेकिन पहली प्राथमिकता अडानी मुद्दे पर पीएम मोदी का जवाब है।

उन्होंने कहा, “सरकार चाहती है कि यह मामला न उठाया जाए, चर्चा न की जाए। वे किसी तरह इससे बचना चाहते हैं और इसे रिकॉर्ड में नहीं लाना चाहते हैं।”

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झारखंड मुक्ति मोर्चा की सांसद ने भी साधा निशाना

झारखंड मुक्ति मोर्चा के सांसद महुआ माजी ने कहा कि धीरे-धीरे सब कुछ निजीकरण किया जा रहा है और उन्हें (अडानी समूह) को ढाल बनाया जा रहा है।

उन्होंने कहा, “आप देख सकते हैं कि देश किस ओर जा रहा है। पूरा विपक्ष एकजुट है, हम विरोध कर रहे हैं। हम जवाब चाहते हैं। अडानी को क्यों बचाया जा रहा है।”

राजद सांसद बोले- हम जेपीसी जांच से कम कुछ नहीं चाहते

राजद सांसद मनोज झा ने कहा, “अडानी दावा कर रहे हैं कि यह देश पर हमला है, लेकिन कैसे? हम इसकी जेपीसी जांच चाहते हैं।” बता दें कि विपक्ष की ओर से तर्क दिया जा रहा है कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों जैसे एसबीआई और एलआईसी में अडानी समूह के निवेश का मध्यम वर्ग की बचत पर बड़ा प्रभाव पड़ा है।

24 जनवरी को आई थी हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट

24 जनवरी को हिंडनबर्ग रिसर्च की एक रिपोर्ट सामने आई, जिसमें दावा किया गया कि अडानी समूह के पास कमजोर कारोबारी बुनियादी सिद्धांत हैं, और वह स्टॉक हेरफेर और लेखा धोखाधड़ी में शामिल था। रिपोर्ट ने अडानी समूह की सभी कंपनियों के शेयरों की बिक्री बंद कर दी।

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