India GDP Growth: क्रेडिट रेटिंग एजेंसी CareEdge Ratings की ताजा रिपोर्ट ‘The Economic Meter and GDP Preview for Q4FY25’ के अनुसार, वित्त वर्ष 2024-25 की चौथी तिमाही (जनवरी-मार्च 2025) में भारत की आर्थिक वृद्धि दर 6.8% रहने की उम्मीद है। पूरे वित्त वर्ष 2024-25 (FY25) के लिए औसत सकल घरेलू उत्पाद (GDP) वृद्धि दर 6.3% अनुमानित है।
यह अनुमान कृषि, होटल, परिवहन और निर्माण जैसे क्षेत्रों में मजबूत प्रदर्शन के आधार पर लगाया गया है, जो भारत की अर्थव्यवस्था को गति प्रदान कर रहे हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि ग्रामीण मांग में सुधार और उपभोक्ता खपत में वृद्धि से अर्थव्यवस्था को मजबूती मिल रही है। हालांकि, शहरी मांग का प्रदर्शन मिश्रित बना हुआ है, जिस पर निगरानी रखने की जरूरत है।
केंद्र सरकार द्वारा तीसरी तिमाही (Q3) के अंत में किए गए भारी पूंजीगत व्यय (Capex) का सकारात्मक प्रभाव Q4 में निवेश गतिविधियों पर दिखाई देगा। इसके अलावा, ग्रामीण आय में सुधार, कर राहत, संभावित ब्याज दरों में कटौती, घटती महंगाई और अनुकूल मानसून की संभावनाएं आर्थिक गतिविधियों को और बढ़ावा देंगी। फिर भी, वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताएं भारत के लिए चुनौती बनी रहेंगी। CareEdge ने वित्त वर्ष 2025-26 (FY26) के लिए GDP वृद्धि का अनुमान 6.2% रखा है।
India GDP Growth: कृषि और परिवहन क्षेत्र में प्रगति
कृषि क्षेत्र में मजबूती बरकरार है। रबी फसलों की बुआई में पिछले वर्ष की तुलना में 2% की वृद्धि दर्ज की गई। Q4 में ट्रैक्टरों की घरेलू बिक्री में साल-दर-साल (YoY) 23.4% की उल्लेखनीय वृद्धि हुई, जो Q3 की 13.5% वृद्धि से बेहतर है। खाद की बिक्री में भी जनवरी-फरवरी 2025 में 5.4% की वृद्धि देखी गई, जबकि Q3 में यह केवल 0.4% थी। परिवहन क्षेत्र में भी तेजी देखी गई, जहां घरेलू हवाई यात्री संख्या में Q4 के दौरान 12% की सालाना वृद्धि हुई, जो Q3 के 11.4% से अधिक है।
India GDP Growth: खनन और निर्माण में मिले-जुले रुझान
औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (IIP) के तहत खनन क्षेत्र में Q4 में 2.1% की वृद्धि दर्ज की गई, जो Q3 की 1.8% से बेहतर है। निर्माण क्षेत्र में भी प्रगति देखी गई, जहां IIP के तहत इंफ्रास्ट्रक्चर और निर्माण सामग्री की श्रेणी में Q4 में 7.6% की वृद्धि हुई, जो Q3 के 7% से अधिक है। हालांकि, केंद्र सरकार का पूंजीगत व्यय जनवरी-फरवरी 2025 में 4% कम हुआ। फिर भी, Q3 में हुए भारी खर्च का सकारात्मक असर Q4 में निर्माण गतिविधियों पर दिखाई देगा।
India GDP Growth की चुनौतियां और अवसर
कुछ क्षेत्रों में चुनौतियां भी सामने आई हैं। राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण में Q4 के दौरान 8.4% की कमी दर्ज की गई, और बिटुमिन की खपत में 3.8% की गिरावट देखी गई।
इसके बावजूद, रिपोर्ट में आशावाद व्यक्त किया गया है कि यदि घरेलू खपत में सुधार जारी रहता है और कॉरपोरेट क्षेत्र निवेश बढ़ाता है, तो भारत की आर्थिक वृद्धि अगले वर्षों में और तेज हो सकती है। इसके लिए वैश्विक आर्थिक परिस्थितियों पर नजर रखना और घरेलू स्थिरता बनाए रखना महत्वपूर्ण होगा।
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