शिमला ब्यूरो|
हिमाचल सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने शिमला नगर निगम का चुनाव के मद्देनजर आगामी 6 दिनों तक के सभी कार्यक्रम स्थगित कर चुनाव प्रचार में पूरी ताकत झोंक दी है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू अब आने वाले दिनों में शिमला में ही रहेंगे और सभी 34 वार्डों में प्रचार कर जान झोंकने जा रहे हैं। मुख्यमंत्री का सभी 34 वार्ड में प्रचार करने का प्लान है। बता दें कि 2 मई को नगर निगम शिमला के चुनाव हैं। हिमाचल प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद यह पहले चुनाव हैं, जहां मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को अपनी अग्निपरीक्षा देनी होगी।
उल्लेखनीय है कि शिमला नगर निगम का पहला चुनाव 1986 में हुआ। तब से लेकर 2012 तक नगर निगम कांग्रेस का गढ़ रहा। इससे बाद 2012 से 2017 तक माकपा ने नगर निगम की सत्ता पर राज किया। इसके अलावा साल 2017 से 2022 तक नगर निगम शिमला पर भाजपा का कब्जा रहा है। ऐसे में सत्तारूढ़ कांग्रेस नगर निगम को अपने कब्जे में करके 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले इसका फायदा लेना चाहेगी।
ऐसे में शिमला नगर निगम चुनाव कांग्रेस पार्टी बीजेपी के बीते पांच साल के कार्यकाल को विफल बताकर मुद्दा बनाने में जुटी हुई है। इसके अलावा स्मार्ट सिटी के नाम पर हुई पैसों की बर्बादी को भी कांग्रेस मुद्दा बना रही है। हाल ही में हुए सत्ता परिवर्तन से कांग्रेस को कुछ हद तक फायदा मिल सकता है। हालांकि यह चुनावी रणनिति बनाना मुख्यमंत्री के लिए इतना भी आसान नहीं रहेगा।
ऐसे में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह को अपनी पहली अग्निपरीक्षा पास करने के लिए दिन-रात एक कर पूरी जान झोंकते हुए नजर आने वाले है। हालाँकि सत्तारूढ़ कांग्रेस को नगर निगम चुनाव में सबसे बड़ा एडवांटेज शहर के तीनों विधायक अनिरुद्ध सिंह, विक्रमादित्य सिंह और हरीश जनारथा वहीँ रोहित ठाकुर के जीतने और इनमें से 3 के मंत्री होने तथा राज्य में कांग्रेस की सरकार के होने का है।











