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Himachal Cloud Burst: हिमाचल में नहीं बची लापता लोगों के जिंदा होने की उम्मीद, 60 से ज्यादा घर भी बहे..!

Himachal Cloud Burst: हिमाचल में बादल फटने से भारी तबाही, 53 लोगों के लापता होने की सूचना

Himachal Cloud Burst: हिमाचल प्रदेश में 1 अगस्त को शिमला और आसपास के तीन अलग-अलग क्षेत्रों में बादल फटने की वजह से भारी तबाही हुई है। रामपुर के समेज खड्ड क्षेत्र में बादल फटने से छह लोगों की मृत्यु हो गई है और 53 लोग लापता हैं। इसके अलावा, 60 से अधिक घर बह गए हैं और कई गांव बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। राज्य के कई हिस्सों में भारी और लगातार बारिश के कारण कई गांव में भूस्खलन जैसी स्थिति बनी हुई है। कुल्लू-मनाली बाईपास रोड पर वाहनों की लंबी कतार देखी गई। ड्रोन वीडियो कुल्लू के रायसन बिहाल गांव से है।

इस आपदा के बाद राहत और बचाव कार्य तेजी से चलाए जा रहे हैं। भारतीय सेना ने रामपुर के समेज में बचाव कार्य के दौरान एक अस्थायी पुल तैयार किया है, जिससे राहत कार्य में मदद मिल रही है। हालांकि आपदा में लापता लोगों के जिंदा बचे होने की उम्मीद ख़त्म हो चुकी है।

Himachal Cloud Burst के बाद बाद राहत और बचाव कार्य जारी है

हिमाचल प्रदेश आपदा प्रबंधन विभाग के विशेष सचिव डीसी राणा ने बताया कि शिमला जिले के समेज क्षेत्र, रामपुर, कुल्लू के बाघीपुल और मंडी के पद्दार क्षेत्र में बादल फटने से व्यापक नुकसान हुआ है। वर्तमान में 53 लोग लापता हैं और छह शव बरामद किए गए हैं। 60 से अधिक घर बह गए हैं और कई गांव बाढ़ से गंभीर रूप से प्रभावित हुए हैं। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें फंसे हुए लोगों को निकालने में जुटी हैं।

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डीसी राणा ने कहा कि रामपुर का समेज क्षेत्र, कुल्लू का बाघीपुल और मंडी जिले का पद्दार क्षेत्र मुख्य रूप से प्रभावित हुए हैं। ये तीनों स्थल बादल फटने के केंद्र बिंदु थे और स्थिति की गंभीरता को देखते हुए विशेष एजेंसियों ने तत्काल कार्रवाई की। हमारी टीमें मौके पर हैं और लापता लोगों की खोजबीन कर रही हैं।

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का दौरा

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने घटनास्थल का दौरा किया और आपदा प्रभावित लोगों से मुलाकात की। उन्होंने राज्य सरकार की ओर से हर संभव मदद का आश्वासन दिया। हालांकि, राज्य सरकार और स्थानीय प्रशासन अपनी पूरी कोशिश के बावजूद उन लोगों की खोई हुई जानों को वापस नहीं ला सकते, जिनके परिवारजन इस कठिन समय में अपने अपनों को जीवित देखने की उम्मीद कर रहे हैं।

क्या बोले नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर

पूर्व मुख्यमंत्री और हिमाचल प्रदेश विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा, “आज मेरी प्रधानमंत्री के साथ शिष्टाचार के नाते भेंट तय थी लेकिन इस बीच हिमाचल प्रदेश में बारिश के कारण जान-माल की जो क्षति हुई है उस पर भी चर्चा होनी स्वाभाविक थी और पीएम मोदी ने भी इस पर चर्चा की… मैंने बताया कि इस समय 50 से अधिक लोग लापता हैं… 4 लोगों की मृत्यु हो चुकी है… इस बार सबसे बड़ी चिंता का विषय ये है कि जीवन का नुकसान अधिक हुआ है… सरकार की ओर से जो प्रयत्न किए जा रहे हैं वो अच्छे हैं और मैं इस बात के लिए जिला प्रशासन और NDRF को धन्यवाद देना चाहूंगा… सरकार की ओर से लापता लोगों की तलाश युद्ध स्तर पर होनी चाहिए…”

लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने किया हिमाचल के आपदा प्रभावित क्षेत्रों दौरा 

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हिमाचल प्रदेश सरकार में मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने हिमाचल के आपदा प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया जहाँ उन्होंने राहत एवं बचाव अभियान का जायजा लिया। उन्होंने कहा, “यहां बादल फटा था जिसके वजह से रामपुर और कुल्लू में भारी तबाही हुई है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू यहां आए थे और स्थिति का जायजा लिया था। NDRF, SDRF, राज्य की पुलिस, होम गार्ड सभी यहां मौजूद हैं। शवों को निकाला जा रहा है। राहत और बचाव कार्यों के साथ ही सर्च ऑपरेशन भी जारी है। मुख्यमंत्री ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से बात की है, हमें उम्मीद है कि केंद्र से हमें सहयता मिलेगी, हम केंद्र से इसकी मांग करते हैं, अभी तक करीब 50 लोगों के मारे जाने की आशंका है, शव मिलने के बाद ही इसकी आधिकारिक पुष्टि हो सकेगी।

रामपुर में पुनर्निर्माण कार्य जारी है, जहां 1 अगस्त को बादल फटने की घटना हुई थी, जिसमें 6 लोग मारे गए थे और 53 लोग अभी भी लापता हैं। भारतीय सेना ने रामपुर के समेज में बचाव और बहाली कार्य जारी रहने के दौरान एक अस्थायी पुल का निर्माण किया। 1 अगस्त को बादल फटने से 6 लोगों की मौत हो गई। CISF हेड कांस्टेबल राजेश कुमार ने बताया, “दो दिन पहले यहां हुई त्रासदी के बाद हम घरों में फंसे सामान को निकाल रहे हैं। अभी तक यहां कोई हताहत नहीं हुआ है।”

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