Himachal News: पूर्व मुख्यमंत्री एवं नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने सराज विधानसभा क्षेत्र में हुई भीषण त्रासदी को लेकर आयोजित पत्रकार वार्ता में अपना दर्द साझा करते हुए भारी मन से कहा कि आज सराज 25 वर्ष पीछे चला गया है। जो भीषण त्रासदी सराज में हुई है उससे बहुत बड़ा नुकसान पूरे क्षेत्र ने झेला है। 27 वर्षों से सराज के लोग और बतौर जनप्रतिनिधि उन्होंने इस क्षेत्र को विकास के लिहाज से जिस मुकाम पर लाकर खड़ा किया था, आज त्रासदी के कारण वह सबकुछ तबाह हो गया है।
उन्होंने कहा कि हम लोगों का जीना मरना प्रदेश और सराज की जनता के साथ हैं। मैं आज बेहद भावुक हूं और जगह-जगह से आ रहे फोन पर संदेश, नुकसान के वीडियो देख और खुद मौके पर जाकर हालात देख विचलित हूं। मैं सराज की जनता को आश्वस्त करना चाहता हूं मैं उनके साथ खड़ा हूं। आप धैर्य बनाए रखें और मुझे पूरा विश्वास है आपकी हिम्मत से हम ये बुरे दौर से ही जल्दी उबर जाएंगे। सराज की जनता की वेदना मेरी वेदना है।
उन्होंने बताया कि जंजैहली, जरोल, च्यूणी, लंबाथाच, थुनाग, बगस्याड़, बाड़ा, परवाड़ा, थाची, सोमनाचनी, कुकलाह और बाखली में बहुत ज्यादा नुकसान हुआ है। पूरे क्षेत्र में अभी तक 30 से अधिक लोग लापता हैं और 9 शवों को बरामद कर लिया गया है। सबसे ज्यादा जानी नुकसान पखरैर पंचायत के देजी में हुआ है जहां एक ही गांव के 11 लोग लापता हैं। 500 से ज्यादा घरों और दुकानों को नुकसान पहुंचा है। 25 छोटे और बड़े पुल टूट गए हैं और कई सड़कें इतनी बूरी तरह से क्षतिग्रस्त हुई हैं जिनके स्थान पर नई सड़क ही बनानी पड़ेगी। 80 से ज्यादा लोगों के वाहन बह गए हैं।
जयराम ठाकुर ने बताया कि पिछले कल एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें सराज पहुंची हैं। खुद सीएम भी हेलिकॉप्टर के माध्यम से हवाई सर्वेक्षण करने के बाद रैणगलू में उतरे थे और वहां लोगों से मिलकर राशन भी वितरित किया था। लेकिन जो राहत कार्य सरकार और प्रशासन द्वारा चलाए जा रहे हैं वो पर्याप्त नहीं हैं। जिस तरह से कार्य किया जा रहा है उससे तो सारी स्थितियां सामान्य होने में ही 2 से 3 महीनों का समय लग जाएगा। सरकार और प्रशासन को इसमें गंभीरता दिखाने की जरूरत है।
मशीनों की संख्या बढ़ाई जाए और यहां बड़ी मशीनें तैनात की जाएं। युद्ध स्तर पर सड़क, बिजली और पानी की बहाली की कार्य किया जाना चाहिए। बेहतर होता अपनी मीडिया टीम के साथ हेलीपैड पर केंद्र से भेजे एयरफोर्स के हेलिकॉप्टर से उतर कर मुख्यमंत्री नीचे हुई तबाही वाले गांवों की तरफ नजर डालते लेकिन उन्हें तो वहां सिर्फ ये दिखाना था कि मैं सराज में पहुंच गया हूं जबकि पूरे प्रदेश ने देखा कि वो आए जरूर लेकिन हेलीपैड पर दो मिनट तक ही रुके और राशन उतारते ही वापस शिमला चले गए।
पत्रकारों द्वारा पूछे गए सवाल के जवाब में जयराम ठाकुर ने कहा कि मैने आज सुबह उन्हें छह बार फोन किया लेकिन उन्होंने नहीं उठाया। उनके ऑफिस किया तो बताया कि साहब ऊपर हैं वहां लाइन जोड़ने को मना करते हैं। आप समझ सकते हैं कि मुख्यमंत्री कितने संवदेनशील हैं। उन्होंने सरकार को चेताया कि अभी वे ज्यादा कुछ नहीं कह रहे, और सरकार के राहत कार्यों की हालत देख रहे हैं।
उन्होंने केंद्र सरकार द्वारा भेजी जा रही मदद के लिए भी केंद्र का आभार जताया। उन्होंने कहा कि एनडीआरएफ पहुंच चुकी है। सर्च अभियान शुरू हो चुका है। केंद्र से हेलिकॉप्टर भी आ चुके हैं लेकिन मुख्यमंत्री से आग्रह है कि अपनी मीडिया टीम इसमें घुमाने के बजाय राशन और जरूरी सामान उन्हें वितरित करने दें।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री ने उन्हें फील्ड पर उतरने की सलाह दी थी। पत्रकारों द्वारा इसी से जुड़ा प्रश्न पूछा गया था। इस मौके पर उनके साथ मंडी सदर के विधायक अनिल शर्मा, नाचन के विधायक विनोद कुमार, बल्ह के विधायक इंद्र सिंह गांधी और मंडी जिला भाजपा के अध्यक्ष निहाल चंद शर्मा सहित अन्य भाजपा नेता भी मौजूद रहे।
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